क्लू टाइम्स, सुरेन्द्र कुमार गुप्ता। 9837117141
ज्येष्ठ माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी को अपरा एकादशी कहा जाता है। मान्यताओं के अनुसार, इस दिन भगवान श्री हरि विष्णु की पूजा-अर्चना करने से सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है और जीवन में सुख-समृद्धि बनी रहती है। इस साल अपरा एकादशी 26 मई 2022 को है। अपरा एकादशी का व्रत करने से प्रेत योनि से मुक्ति मिलती है।
अपरा एकादशी शुभ मुहूर्त
एकादशी तिथि प्रारंभ- 25 मई को सुबह 10 बजकर 32 मिनट से
एकदशी तिथि समाप्त- 26 मई को सुबह 10 बजकर 54 मिनट तक
व्रत पारण का समय- 27 मई को सुबह 05 बजकर 25 मिनट से सुबह 08 बजकर 10 मिनट तक
इस बार अपरा एकादशी के दिन सुबह से रात 10 बजकर 15 मिनट तक आयुष्मान योग बना हुआ है। वहीं, सर्वार्थ सिद्धि योग पूरे दिन है।
अपरा एकादशी पूजन विधि
- अपरा एकादशी के दिन सुबह प्रात: जल्दी उठ कर स्नान करें और पीले वस्त्र पहनें।
- इसके बाद मंदिर में भगवान विष्णु की प्रतिमा स्थापित करके उन्हें स्नान करवाएं और साफ धुले हुए वस्त्र पहनाएं।
- भगवान विष्णु के समक्ष धूप-दीप प्रज्वलित करें और उनकी विधि- विधान से पूजा करें।
भगवान को फल, फूल, मिष्ठान आदि अर्पित करें और उनकी आरती करें।
- अपरा एकादशी के दिन विष्णु चालीसा, विष्णु सहस्रनाम और व्रत कथा अवश्य पढ़ें।
- भगवान विष्णु को भोग लगाएं और प्रसाद घर में सभी को बांटे और खुद भी ग्रहण करें।
अगले दिन द्वादशी तिथि के दिन पारण करें।